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Punjab Ki Rajdhani in Hindi – पंजाब की राजधानी के बारे में जानिए सबकुछ

भारतीय राज्य पंजाब का निर्माण 1947 में हुआ था जब भारत के विभाजनने पंजाब के पूर्व राज प्रांत को भारत और पाकिस्तान के बीच विभाजित कर दिया था |प्रांत का अधिकांश मुस्लिम पश्चिमी पाकिस्तान का पंजाब प्रांत बन गया था| पंजाब की स्थापना 1451 से 1526 के बीच में लोदी वंश बहलुल खान लोदी द्वारा स्थापित की गई है | पहले पंजाब का पूरा नाम था जो हमारे बुजुर्ग लोग बोलते थे पंजाब का पूरा नाम पंजअभ था, पंच का मतलब पांच नदियों और अब का मतलब पानी |तो पंजाब का नाम पांच नदियों के नाम पर रखा गया है पंजअभ नाम से जानने के बाद 15 वीं सदी से पंजाब के नाम से जानने लगे जो अपनी सांस्कृतिक धरोहर रंग-बिरंगे त्योहार और प्रकृति से भरा हुआ समरूप भूभाग बनाता है यहां के लोगों का विनम्र और मित्रों का स्वभाव पंजाब को विशेष बनाता है | पंजाब की स्थानीय भाषा पंजाबी है जो गुरुमुखी लिपि में लिखी जाती है यह भाषा लोगों की आंतरिक और बाह्य जीवन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है और लोग इसे गर्व से बोलते हैं | आज हम Punjab Ki Rajdhani चंडीगढ़ के बारे में चर्चा करेंगे |:

चंडीगढ़ जैसा अद्भुत शहर भारत में स्थित है | यह शहर किसी भी राज्य का हिस्सा नहीं माना जाता यह शहर भारत को केंद्र शासित प्रदेश है | इस शहर का नियंत्रण भारत सरकार के हाथों में है | इस शहर पर किसी भी राज्य का अधिकार नहीं है | इस शहर की खास बात यह है कि यह शहर पंजाब और हरियाणा दोनों राज्य की राजधानी का शहर है लेकिन इसे राज्य में शामिल नहीं किया जाता |

चंडीगढ़ का इतिहास :

चंडीगढ़ शहर का इतिहास 8000 साल पुराना है शुरुआत में इस शहर दुनिया के सबसे पहले संस्कृति हड़प्पा संस्कृति के लोग रहते थे |भारत का बंटवारा होने के बाद पूर्व पंजाब की कोई भी राजधानी नहीं थी क्योंकि उस समय लाहौर शहर पाकिस्तान को दे दिया गया था इसलिए पंजाब को राजधानी का शहर देने के लिए चंडीगढ़ को पूरे नियोजन से बनाया गया इसलिए सभी ने शिवालिक पहाड़ी के बाजू में चंडीगढ़ शहर बनाने का प्लान बनाया था इसलिए बहुत ही सक्षम अधिकारियों को इस शहर को बनाने का दायित्व दिया गया था |इस शहर का नाम यहां के चंडी माताजी मंदिर के नाम पर रखा गया है इसलिए इस शहर को चंडीगढ़ कहा जाता है |

चंडीगढ़ की भाषा :

अधिकतर लोग हिंदी और पंजाबी में बात करते हैं यहां के सरकारी स्कूल में भी इंग्लिश हिंदी और पंजाबी में भी पढ़ाया जाता है यह देश का सबसे स्वच्छ शहर की सूची में नाम आता है |

चंडीगढ़ एक बहुत ही सुंदर पर्यटक स्थल भी है :

1. सुखना झील : यह जिल शहर के दक्षिण पश्चिमी भाग में स्थित है और विभिन्न वॉटरस्पोर्ट्स और बोटिंग के लिए लोकप्रिय है|

2. रॉक गार्डन : यह गार्डन शहर में विशाल सिला और मूर्तियों का एक सुंदर संगठन स्थान है |

rock garden

3. सुखना वन: चंडीगढ़ में सुखना झील के पास तिथि एवं घूमने वालों के लिए एक शांतिपूर्ण स्थल हे |

4. रोज नहर : यह नोहर शहर के मध्य भाग से गुजरती है और वातावरण में चलने वाले हैं और जोगिंग करने वालों के लिए आकर्षक है |

5. रॉक गार्डन सुलतानपुर लोधी : यह गार्डन सुल्तानपुर लोधी क्षेत्रों में स्थित है और वास्तविक उल्लेखनिय सिलाऔर गुफाएं हैं |

6. चंडी मंदिर : यह मंदिर शहर के विभिन्न हिस्सों में स्थित है और चंडीगढ़ के विभिन्न धार्मिक स्थलों में से एक माना जाता है

7. सरकारी एवं संगठन भवन : चंडीगढ़ शहर के विभिन्न भवन सरकारी और संगठन के उद्देश्यों के लिए आदर्श रचनाएं प्रदान करते हैं जिनमें विशेष रूप से कपिल भवन उच्च न्यायालय भवन और सचिवालय भवन शामिल है |

इसके अलावा चंडीगढ़ खास भोजन और लोकल कला संस्कृति की भी साक्षात्कार करने के लिए महत्वपूर्ण है | चंडीगढ़ भारत के राज्यों में अद्भुत संग्रह थोड़े जो अपने शानदार वातावरण और सुंदरता के यह लोगों को खींचता है |

चंडीगढ़ में खाने लायक चीजें :

यह कुछ खाने की चीजें हैं जिन्हें चंडीगढ़ के लोग खाने का आनंद लेते हैं यहाँ आपको अभी कुछ और भी विकल्प मिलेंगे जिन्हें आप अपने विचार के अनुसार चयन कर सकते हैं |

1. छोले भटूरे: एक प्रसिद्ध और स्वादिष्ट पंजाबी डीजे जो चंडीगढ़ में बड़े शौक से खाया जाता है | और एक शाकाहारी भोजन हे|

2. पराठे : पराठे चंडीगढ़ के लिए भी एक पसंदीदा व्यंजन है विभिन्न पराठे विकल्प है जैसे आलू गोभी मलाई प्याज आदि मिलते हैं |यह भी एक शाकाहारी भोजन है मैं आप लोगों को एक चीज और बताना चाहता हूं कोई भी देश में कोई भी राज्यों में वेज नॉन वेज दोनों मिलते हैं लेकिन जब से कोरोना आया था तब से डब्ल्यूएचओ (W.H.O,.) ने हो सके उतना शाकाहारी भोजन लेने का आग्रह किया गया था पूरी दुनिया को .

3. राजमा चावल: यह तो पूरा पंजाबी डिस जो चंडीगढ़ में खासतौर पर रविवार को खाया जाता है |

4. कढ़ी छास: यह एक राजस्थानी डिस जिसे खाने से गर्मी में राहत प्रदान करती है |

5. सरसों दा साग : पंजाबी स्पेशियल सरसों का साग मक्के की रोटी के साथ चंडीगढ़ में खाया जाता है। |

6. फालूदा : गर्मी में यह मीठा और ठंडा ड्रिंक लोगों की पहली पसंद होती है |

चंडीगढ़ के महत्वपूर्ण स्थानीय त्योहार और कला-संस्कृति जिसमें लोग रोज़ाना जीवन के दौरान भाग लेते हैं और अपनी संस्कृति को जीवंत रखते हैं, वे ऊपर दिए गए हैं। यहां के त्योहार और कला-संस्कृति आपके चंडीगढ़ की यात्रा को अधिक यादगार और रंगीन बना सकते हैं।

स्थानीय त्योहार और कला-संस्कृति :

लोहड़ी: लोहड़ी चंडीगढ़ में मकर संक्रांति के पहले दिन मनाया जाता है। इस त्योहार में लोग आपसी मित्रता और खुशियों का जश्न मनाते हैं और बनाए गए बोन फायर (लोहड़ी का बोनफायर) के आसपास नृत्य और गान का आनंद लेते हैं।

होली: होली चंडीगढ़ में रंगों का एक बड़ा उत्सव है। इस दिन लोग अपने परिवार, मित्रों, और पड़ोसियों के साथ रंगों से खेलते हैं और आपसी भाईचारे का पर्व मनाते हैं।

महाशिवरात्रि: महाशिवरात्रि चंडीगढ़ में शिव मंदिरों में धूमधाम से मनाया जाता है। इस दिन लोग शिव भगवान के लिए पूजा और अर्चना करते हैं और रात्रि में ज्योति जलाते हैं।

बैसाखी: बैसाखी पंजाबी और चंडीगढ़ी संस्कृति का एक महत्वपूर्ण त्योहार है। इस दिन लोग बैसाखी मेले में भाग लेते हैं, भंगड़ा और गिड्डा नृत्य का आनंद लेते हैं और लोकल संस्कृति का लुभावना अनुभव करते हैं।

दिवाली: दिवाली चंडीगढ़ में खूबसूरत रौनक से मनाया जाता है। इस दिन लोग अपने घरों को दीपों से सजाते हैं और रोशनी का उत्सव मनाते हैं।

चंडीगढ़ आर्ट और कला: चंडीगढ़ भारतीय और पंजाबी कला और शिल्प का एक साक्षात्कार करने के लिए उत्कृष्ट स्थान है। यहां पर संग्रहालय, गैलरीज़, और कला-संस्थान हैं जो लोगों को भारतीय कला का अद्भुत अनुभव करने का मौका देते हैं।

चंडीगढ़ शहर का जो प्लानिंग किया हुआ है वह सेक्टर वाइज किया हुआ है जैसे गुजरात के गांधीनगर में है। सिटी ब्यूटीफुल चंडीगढ़ की रचना करने वाले ली कारबुजीय ने जब 50 साल पहले चंडीगढ़ का निर्माण किया तो उन्होंने शहर को 60 सेक्टरों में विभाजित किया था सेक्टर 13 नहीं बनाया गया चंडीगढ़ और पंचकूला सेक्टर में सेक्टर 13 नहीं है क्योंकि इसके पीछे एक अंधविश्वासी विश्वास है कि 13 शुभ नहीं होता है |

चंडीगढ़ के महत्वपूर्ण घटनाएं:

चंडीगढ़ की स्थापना 1 नवंबर 1966 को हुई थी, जब पंजाब राज्य को पंजाब और हरियाणा के बीच बाँट दिया गया था। चंडीगढ़ को पंजाब और हरियाणा दोनों के साझा राजधानी बनाया गया।

चंडीगढ़ का निर्माण: चंडीगढ़ का निर्माण लेखक ली कोर्बुजिए द्वारा किया गया था। उन्होंने शहर को सेक्टरों में बाँटा और उत्तम योजनाओं के साथ डिज़ाइन किया। इसका मकसद शहर को आधुनिकता, सुविधा और सुंदरता के साथ विकसित करना था।

पंजाब विभाजन: चंडीगढ़ की स्थापना 1966 में हुई, जब पंजाब राज्य को पंजाब और हरियाणा के बीच विभाजित किया गया। पंजाब विभाजन के समय, चंडीगढ़ को पंजाब और हरियाणा दोनों राज्यों की राजधानी बनाया गया।

विश्व पंजाबी सम्मेलन: विश्व पंजाबी सम्मेलन को चंडीगढ़ में आयोजित किया जाता है, जिसमें विश्व भर से पंजाबी समुदाय के लोग शामिल होते हैं। इस सम्मेलन का मकसद पंजाबी भाषा, साहित्य, संस्कृति और समृद्धि को बढ़ावा देना होता है।
राष्ट्रीय उद्यान: चंडीगढ़ में सुखना झील के किनारे राष्ट्रीय उद्यान स्थापित किया गया है। यह एक प्रमुख पर्यटक स्थल है, जिसमें विभिन्न प्रकार के पक्षियों, बग्घों और जलचर जीवों के दर्शन करने का अवसर मिलता है।

कपिल देव का जन्मस्थल: चंडीगढ़ विख्यात क्रिकेटर कपिल देव का जन्मस्थल है। उन्होंने भारतीय क्रिकेट टीम को पहली बार विश्व कप जीताया था और भारतीय क्रिकेट को विश्वस्तरीय मंच पर पहचान दिलाई थी।

Education and Development के क्षेत्र में चंडीगढ़

चंडीगढ़ भारत में शिक्षा और विकास के क्षेत्र में एक अग्रणी शहर है। इसका क्रम भारत में एक उत्कृष्ट शिक्षा हब के रूप में है, जो अपनी उच्च शिक्षा और विकास के सुविधाओं के लिए प्रसिद्ध है। इसका शैक्षिक क्रम निम्नलिखित कारणों से अग्रणी माना जाता है:

प्रतिष्ठित शिक्षा संस्थान: चंडीगढ़ में कई प्रतिष्ठित शिक्षा संस्थान हैं जैसे पंजाब विश्वविद्यालय, पंजाब इंजीनियरिंग कॉलेज, चंडीगढ़ विश्वविद्यालय, नेक्टर, एम्स पंजाब, आईआईएम चंडीगढ़, आईआईटी रोपड़ी आदि। ये संस्थान विभिन्न क्षेत्रों में शिक्षा के क्षेत्र में अग्रणी हैं।

विशेषज्ञता के क्षेत्र में विकास: चंडीगढ़ में शिक्षा, तकनीक, विज्ञान, चिकित्सा, और विनियामक विज्ञान के क्षेत्र में विशेषज्ञता के साथ विकास हुआ है। यहां विभिन्न उच्च शिक्षा संस्थान और रिसर्च केंद्र हैं जो उच्च शिक्षा और अनुसंधान के क्षेत्र में महत्वपूर्ण योगदान प्रदान करते हैं।

सरकारी समर्थन: चंडीगढ़ एक केंद्र शासित प्रदेश है और इसे भारत सरकार का विशेष ध्यान और समर्थन प्राप्त है। इससे शिक्षा और विकास के क्षेत्र में निवेश के लिए सरकारी संसाधन उपलब्ध होते हैं।

शिक्षा के विभिन्न सेक्टर: चंडीगढ़ में शिक्षा के विभिन्न क्षेत्रों में उच्च शिक्षा के लिए संस्थान हैं, जिनमें विज्ञान, कला, व्यापार, चिकित्सा, इंजीनियरिंग, और विनियामक विज्ञान शामिल हैं। इससे चंडीगढ़ एक विशेषज्ञता का केंद्र है और विभिन्न विषयों में उच्च शिक्षा प्रदान करता है।

इसलिए, चंडीगढ़ भारत में शिक्षा और विकास के क्षेत्र में महत्वपूर्ण स्थान रखता है और इसका क्रम भारत के अन्य शहरों से ऊँचा है।

चंडीगढ़ एक बार देखेंगे तो देखती रह जाएंगे आपको ऐसा लगेगा कि आप कोई भारत में नहीं घूम रहे हैं कोई बाहर के देश में घूम रहे हो इतना अच्छे प्लानिंग से सिटी को डिवेलप किया गया है तो एक बार जरूर से चंडीगढ़ विजिट करने जैसा है| यह आर्टिकल अगर आपको अच्छा लगा हो तो ज्यादा से ज्यादा लोगों को शेयर कीजिए|

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